गांव के एक सपूत ने जिले में ही नहीं प्रदेस में रच दिया इतिहास
भाई ग्राम प्रधान ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के पद चिन्हों पर गांव को बना दिया स्मार्ट शहर
गांव में बना दिया पूरी तरह से डिजिटल शौचालय, गांव के लोग अब अपने को बताते है स्मार्ट सिटी से बेहतर।
रायबरेली का एक ऐसा गांव जहां के एक युवक ने अमेरिका के कैलोफोरनिया में दिये गये प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के एक भाषण से उसने अपनी जन्म स्थली रायबरेली के एक छोटे से गांव को डिजिटल के कारण शौच मुक्त गांव बना दिया है, बल्कि गांव के हर रास्ते और गलियांे में सीसीटीवी कैमरे और लाउडस्पीकर भी लगा दिये गये है। साथ ही कूड़ा घर भी बनाया गया है। ये प्रधानमंत्री मोदी के पद चिन्हों पर चलने वाला सच्चा सपूत।
रायबरेली सोनियां गांधी का संसदीय क्षेत्र एक प्रधान और उसके अमेरिका में रह रहे भाई ने एक नयी इबादत लिख दी है। तौधकपुर में एक तरफ जहां प्रधानमंत्री के स्वच्छ भारत मिशन के तहत गांव को ओडीएफ घोषित करके विकास कार्य कराए जा रहे हैं जिसमें खुले में शौच मुक्त भारत को लेकर घर घर शौचालय बनवाने का लक्ष्य सभी ग्राम प्रधानों को दिया गया था लेकिन अधिकांश गांव में या तो उस पैसे का बंदरबांट हो गया या फिर केवल नाम के लिए शौचालय बनवाए गए, जो सफेद हाथी साबित हो रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ रायबरेली जिले के लालगंज ब्लॉक के 3500 लोगों की आबादी वाले और 17 वर्षों से निरंतर तौदधकपुर गांव के ग्राम प्रधान ने मिसाल पेश की है। कुछ ही माह में उन्होंने 242 शौचालय तो बनवाए ही साथ ही उनकी निगरानी के लिए कैमेरे भी लगवाए। यहां के लोग बताते हैं कि मेरा स्मार्ट तौधकपुर गांव किसी शहर से कम नहीं है।
रायबरेली के इस गांव की आम जनता और अन्य गांव की जनता का कहना है कि इस गाँव में बने शौचालय शायद ही शहरों में बने हो। यही नहीं, इस गाँव का कोई भी ग्रामीण खुले में शौच नहीं करता। जी हां, यह हम नहीं बल्कि तौधकपुर गांव के ग्रामीण व तस्वीरों में यहां के दिख रहे सुसज्जित साफ.सुथरे शौचालय कह रहे हैं। सभी शौचालयों में रंगाई पुताई के साथ.साथ स्लोगन भी लिखे हुए हैं जिससे जागरुकता फैलाई जा सके।
यही नहीं खुले में स्वच्छ भारत अभियान को सही दिशा देने के लिए प्रधान ने जगह जगह बिजली के खंभों पर सीसीटीवी कैमरे व साथ में लगे लाउडस्पीकर पूरे गाँव में लगवा रखे हैं, जिससे कि खुले में शौच जाने वाले लोगों की निगरानी की जा सके। यही नहीं इस काम की स्वयं प्रधान कार्तिकेय बाजपेई द्वारा रोजाना सुबह शाम मॉनिटरिंग भी की जाती है। इस काम के लिए ग्राम प्रधान ने अपने घर पर एक कंट्रोल रूम बना रखा है जिसमें की प्रतिदिन प्रधान जी खुले में शौच जाने वालों को देखते हैं और देखते ही लाउडस्पीकर पर उनको खुले में शौच जाने से रोकते हैं। साथ ही इससे होने वाले नुकसान व बीमारियों के विषय से अवगत कराते हैं।
ग्रामप्रधान तौधकपुर कार्तिकेय बाजपेई के भाई रजनीश शंकर बाजपेई अमेरिका में रहते हैं। उनके माध्यम से ग्राम प्रधान जागरूक हुए और बतौर ग्राम प्रधान अमेरिका में रहने वाले इनके भाई ने इनको प्रेरित किया। शहरों में रहने वाले लोग अपने बच्चों को निजी और कान्वेंट स्कूलों में पढ़ाते हैंए लेकिन गांव के गरीब बच्चे अच्छी शिक्षा नहीं ले पाते हैं। इसलिए गांव की शिक्षा व्यवस्था बेहतर बनाई जाए जिससे की बच्चे जागरूक हो सकें और उनकी शिक्षा का विस्तार हो सके। जिसके बाद इन्होंने अपनी जागरूकता से पूरे गाँव को घर घर शौचालय बनवाकर ग्रामीणों को भी जागरूक किया।
इस तरह से प्रधान कार्तिकेय बाजपेई ने अपने गाँव को स्मार्ट गांव बनाया और आज सभी ग्रामीण गर्व से तौधकपुर को स्मार्ट गांव कहते हैं। अगर तौधकपुर गांव को देखकर बाकी ग्राम प्रधान भी सीख लें, तो शायद प्रधानमंत्री के सपनों को सही दिशा और दशा मिल सके।
प्रधान कार्तीकेय बाजपेयी ने बताया कि आगे हम गांव में कम्प्यूटर सेन्टर खोलने जा रहे है, जिसमें गांव और आसपास के बच्चे निशुल्क कम्प्यूटर कोर्ष कर सकेगें । साथ ही उन्होने यह भी बताया कि गांव के बुजुर्ग हो जाने के कारण गांव के बाहर नही जा पाते है या तो वह चबूतरे पर या किसी पेड़ के नीचे अपने साथ के लोगों को लेकर बैठे मिलेगें। लेकिन अब ऐसा नही होगा। क्योंकि गांव में इनके लिये जल्द एक लाइब्रेरी बनने जा रही है। जिससे ये अपना ज्ञान हासिंल करेगें साथ ही
देश की समस्यायों पर बात कर सकेगें।
देश की समस्यायों पर बात कर सकेगें।
गांव का विकास
तौधकपुर गांव में 242 शौचालय बने है
सरकारी हैण्डपम्प मार्का -54
सीसीटी कैमरा - 16
लाउडस्पीकर - 25
एक प्राईमरी स्कूल है इसमें करीब 108 बालक-बालिकायें पढ़ते है।
पंचायत घर भी डिजिटल करण है
गांव की जनसंख्या करीब - 3500
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